शुक्रवार, 2 फ़रवरी 2024

ये बेरहम खर्राटे

खर्राटों को बाय बाय

वैसे तो मै पहले भी आपकी जानकारी में ये बात डाल चुकी हूँ कि खर्राटों से छुटकारा पाने की एक कामयाब दवा बना चुकी हूँ।गोलियों के रूप में है।एक एक गोली सुबह शाम खाएं या दो गोली एक साथ पानी से निगलिये 15 दिन में खर्राटे ख़त्म हो जाएगे लेकिन दवा आपको दो महीने खानी होगी ताकि परमानेंट खर्राटों से छुटकारा मिल जाये।

शनिवार, 22 नवंबर 2014

टच & फील



फेसबुक पर मेरे ४६०० मित्र हैं और १२-१३०० रिक्वेस्ट अभी पेंडिंग में है। लेकिन कल ऐसी घटना हुई कि  मेरे चारों तबक रोशन हो गये.एक सामान्य सी बात है कि इन लोगो में से कोई कभी मेरे शहर आएगा और मुझसे संपर्क करेगा तो मैं जरूर उसको अपने घर चाय पीने का न्योता दूंगी। किन्तु इस स्वागत या मेहमानदारी को कोई गलत अर्थ में लेकर मुझे यह समझाने की कोशिश करे कि दोस्तों में तो टच & फील होना चाहिए। इससे दोस्ती मजबूत होती है तो तौबा। कल मेरी जानकारी में ये नया शब्द आया टच & फील। तो मैं आज ही अपने सभी फेसबुक फ्रेंड को सावधान कर देना चाहती हूँ कि अगर उनकी नीयत ज़रा सी भी ऐसी हो कि जिंदगी के किसी मोड़ पर सामने मिलने पर वे टच & फील के हिमायती हैं तो आज ही मेरी लिस्ट में से खुद को अन्फ्रेंड कर लें वरना मैं ब्लाक करुँगी तो आपको बेइज्जती भी महसूस होगी। 

फेसबुक एक बहुत अच्छा मंच है ,कम से कम मेरे फेसबुक फ्रेंड के लिए तो है ही, उन्हें अपनी अनेक बीमारियो से छुटकारा मिल गया जो कई वर्षों से उन्हें तंग कर रही थीं ,कहीं जाने की जरुरत भी नहीं पड़ी घर बैठे ही इलाज हो गया। मेरे लिए भी ये अच्छा मंच साबित हुआ की शोध में तरक्की के नए रास्ते खुले और मैं नयी नयी जानकारियां सभी लोगों तक पंहुचा सकी और अनेक भ्रांतियां भी लोगो के दिमाग से निकाल सकी। मैंने भी बहुत सारी घटनाओ के बारे में पेपर में पढ़ा है कि किसी लड़की/लड़के ने मॉल में कूद कर आत्महत्या कर ली अपने फ्रेंड के कारण ,फेसबुक से दोस्ती हुई थी। ये तो सच है कि रोज रोज आप किसी से चैट करो तो सबसे पहले मानवता का फिर आगे और भी रिश्ते बन ही जाते हैं,ये मानव स्वभाव है लेकिन हर रिश्ते का एक दायरा होता है जो ख़ास तौर से लड़कियों /महिलाओं को समझना चाहिए। आप लोग हंस बोल रही हो ,सुख दुःख शेयर कर रही हो तो इसका अर्थ ये तो नहीं कि चैट में ही कोई अमर्यादित बात करे तो आप बर्दाश्त कर लो। या सामने आने पर कोई दोस्ती का हवाला देकर टच & फील की पेशकश रखे तो आप बर्दाश्त कर लो। यही वो पहला कदम होता है जिसकी मंजिल आत्महत्या या जिंदगी का बर्बाद होना होती है और इस चीज से महिलायें ही ज्यादा प्रभावित होती हैं या तो वे खुद को ख़त्म कर लेती हैं या डिप्रेशन में चली जाती हैं। इसी का परिणाम तमाम रेप केसेज भी होते हैं। टच & फील से शुरू हुआ ये सफर कभी अच्छी मंजिल नहीं देगा ये बात तमाम गर्ल्स को अपने दिमाग में बैठा लेनी चाहिए। 

कोई भी सोशल साइट कभी बुरी नहीं होती अगर आप उसे बुरे अर्थ में न ग्रहण  करें। ये भी सच है कि कुछ लोग सिर्फ लड़कियों को ही फेसबुक पर दोस्त बनाते हैं और किसी लड़की के नाम से ही फेक आई डी  डाल कर ज्यादा लड़कियों से दोस्ती करना चाहते हैं तो ऐसे लोगों की फ्रेंड लिस्ट देख कर ही लड़कियाँ उनकी रिक्वेस्ट एसेप्ट करें।अगर इतनी सावधानी रखने का आपके पास समय नहीं तो भी ऐसे लोग २-३ बार चैट में ही पकड़ में आ जाते हैं तो बिना एक पल गवाए उन्हें ब्लॉक कीजिए। क्योंकि लड़कियों के पास एक सिक्स सेन्स अर्थात छठी इंद्री भी होती है जिसका उन्हें अपने जीवन में भरपूर इस्तेमाल करना चाहिए। सिर्फ क़ानून बन जाने से या नैतिकता की कमी का रोना रोने से लडकियां सुरक्षित नहीं होंगी जब तक वे खुद स्ट्रिक्ट नहीं होंगी। तभी तलाक के केस कम होंगे, परिवार टूटने से बचेंगे और आप सर उठा के समाज में चल सकेंगी।   

   

सोमवार, 13 मई 2013

भृंगराज



भृंगराज का नाम आप लोगों के लिए नया नहीं है। तमाम हेयर आयल के विज्ञापन रोज प्रकाशित होते हैं,उनमें भृंगराज  की चर्चा बड़े जोर-शोर से की गयी होती है।केशों के लिए यह महत्वपूर्ण तो है ही लेकिन इसके अन्य औषधीय गुण शायद और ज्यादा महत्वपूर्ण लगते हैं मुझे। अकेले भृंगराज कायाकल्प करने में सक्षम है। अगर उसे सही तरीके से प्रयोग किया जाये तो।यहाँ तक कि कैंसर से आप इसके सहारे लड़ सकते हैं और जीत भी सकते हैं।

           
भृंगराज के पौधे वर्षा के मौसम में खेतों के किनारे ,रेल लाइन के किनारे, खाली पड़ी जमीन पर ,बाग़ बगीचों में खुद ही उग जाते हैं। ये हमेशा हरे रहते हैं।इनके फूल पत्ते तने जड़ सब उपयोगी हैं। इनकी झाड़ियाँ ज्यादा से ज्यादा आधा मीटर तक उंची मिलेंगी।
इस पौधे में बीटा-एमिरीन ,विडेलोलेक्टोंन, ग्लूकोसैड्स-फायटोस्टीराल-ए , ल्यूतियोलिन, फैटिक एसिड ,पामीटिक एसिड, ट्रायतर्पेनीक एसिड, स्टीयरिक एसिड,लिनोलिक एसिड और आलिक एसिड , एकलिप्तींन ,एम्पलिप्तींन एल्केलायद ,निकोटीन और राल जैसे तत्व मौजूद हैं।
  
----पीलिया एक जानलेवा रोग है ,लेकिन आप रोगी को पूरे  भृंगराज के  पौधे का चूर्ण मिश्री के साथ खिला दीजिये 100 ग्राम चूर्ण पेट में पहुंचाते ही पीलिया ख़त्म . या फिर भृंगराज के पौधे को ही क्रश करके 10 ग्राम रस निकालिए ,उसमें 1 ग्राम काली मिर्च का पावडर मिलाकर मरीज को पिला दीजिये .दिन में 3 बार ,3 दिनों तक इस मिश्रण में थोड़ा मिश्री का चूर्ण भी मिला लीजियेगा ।
----बाल काले रखने हैं तो भृंगराज की ताजी पत्तियों का रस रोजाना सिर  पर मल कर सोयें।
----गुदाभ्रंश हो गया हो तो भृंगराज की जड़ और हल्दी की चटनी को मलहम की  तरह मलद्वार पर लगाए इससे कीड़ी काटने की बीमारी मेंभी आराम मिलता है .गुदा भ्रंश में मल द्वार थोड़ा बाहर निकल आता है. 
----पेट बहुत खराब हो तो भृंगराज कीपत्तियों का रस या चूर्ण दस ग्राम लीजिये उसे एक कटोरी दही में मिला कर खा जाएँ ,दिन में दो बार ३ दिनों तक .
----आँखों की रोशनी तेज रखनी है तो भृंगराज  की पत्तियों का ३ ग्राम पाउडर १ चम्मच शहद में मिला कर रोज सुबह खाली  पेट खाएं।
----भृंगराज सफ़ेद दाग का भी इलाज करता है मगर काली पत्तियो और काली शाखाओं वाला भृंगराज चाहिए।इसे आग पर सेंक कर रोज खाना होगा ,एक दिन में एक पौधा लगभग चार माह तक लगातार खाए।
----जिन महिलाओं को गर्भस्राव की बिमारी है उन्हें गर्भाशय को शक्तिशाली बनाने के लिए भृंगराज की ताजी पत्तियों का ५-६ ग्राम रस रोज पीना चाहिये
----त्रिफला के चूर्ण को भृंगराज  के रस की ३ बार भावना देकर सुखा कर रोज आधा चम्मच पानी के साथ निगलने से बाल कभी सफ़ेद होते ही नही। इसे किसी जानकार वैद्य से ही तैयार कराइये.
----अगर कोई तुतलाता हो तो इसके पौधे के रस में देशी घी मिला कर पका कर दस  ग्राम रोज पिलाना चाहिए ,एक माह तक लगातार।
----इसके रस में यकृत की सारी बीमारियाँ ठीक कर देने का गुण मौजूद है लेकिन जिस दिन इसका ताजा रस दस ग्राम  पीजिये उस दिन सिर्फ दूध पीकर रहिये भोजन नहीं करना है ,यदि यह काम एक माह तक लगातार कर लिया जाय तो कायाकल्प भी सम्भव है।यह एक कठिन तपस्या है.
----अब इसका सबसे महत्वपूर्ण उपयोग सुनिए- बच्चा पैदा होने के बाद महिलाओं को योनिशूल बहुत परेशान करता है,उस दशा में भृंगराज के पौधे की जड़ और बेल के पौधे की जड़ का पाउडर बराबर मात्रा में लीजिये और शहद के साथ खिलाइये ,५ ग्राम पाउडर काफी होगा ,दिन में एक बार खाली पेट लेना है ७ दिनों तक . 
      
सारे चित्र विकिपीडिया  से साभार


इन आलेखों में पूर्व विद्वानों द्वारा बताये गये ज्ञान को समेट कर आपके समक्ष सरल भाषा में प्रस्तुत करने का छोटा सा प्रयत्न मात्र है .औषध प्रयोग से पूर्व किसी मान्यताप्राप्त हकीम या वैद्य से सलाह लेना आपके हित में उचित होगा

gobhi sehat ki dushman hai


मेरे पास अस्सी % मरीज सिर्फ पेट अन्दर हो जाए ,इसके लिए आते हैं ,लेकिन उस वक्त मैं उन्हें जो परहेज बताती हूँ  वह उन्हें बहुत नागवार लगता है।उस परहेज का महत्वपूर्ण भाग फूल गोभी है ,फूलगोभी खाते रहने से पेट फूल जाता है या ज्यादा बाहर निकल आता है बाकी शरीर पेट के मुकाबले कम फूलता है नतीजतन शरीर बेडौल दिखाई पड़ता है।

                                  


इसे हिन्दी में फूल गोभी, संस्कृत में अधोमुखा या गोजिन्ह्वा या दर्विका, मराठी में गोजीभ,तमिल में अंशोवादी ,तेलगू में इदुमलिकेच्दू,  फारसी में कल्मेरूमी, अरबी में किबनपति कहते हैं। इसे अंग्रेजी में cullyflower और साइंटिफिक भाषा में ब्रेसिका ओलिरोसिया कहते है। 

फूल गोभी में निम्न तत्व पाये जाते हैं। जल, प्रोटीन, वसा ,फाइबर, कार्बोहाइड्रेट, कैल्सियम, थायेमिन, राइबोफ्लेबिन, नियासिन, विटामिन सी,।
      ** गोभी वात पैदा करती है। लेकिन ये कफ और पित्त की बदबू को दूर भी करती है.
      ** गोभी के पंचांग का काढा पीने से मूत्राघात मिटता है।
      ** इसके पत्तो का साग बनाकर खाइये अगर आपको खूनी बवासीर हो गया हो तो।
      ** गोभी के बारे में यूनानी चिकित्सा कहती है कि अगर ये ठीक से पच गयी है तो पेट और पसलियों के बीच में दर्द पैदा करती है।
      ** अगर आप चाहते हैं कि शराब का नशा आपको न चढ़े तो शराब पीने से पहले इसकी पकौड़ियाँ या सब्जी खा लीजिये।
      ** गोभी कामशक्ति को तो बढाती है मगर दिमाग को कमजोर कर देती है।
      ** गोभी स्वरभंग की सबसे अच्छी दवा है इसके पत्ते और तने का काढा बनाइये फिर उसमे शहद मिला कर पी लीजिये, किसी भी वजह से आई आवाज की खराबी दूर हो जायेगी।
      ** किसी का बुखार न दूर हो रहा हो तो उसे गोभी की जड़ का काढा बनाकर सुबह शाम पिला दीजिये।
      ** पेट दर्द के लिए गोभी बहुत फायदेमंद है।पेटदर्द में गोभी के पंचांग को चावल के पानी में पकाकर सुबह शाम सौ सौ ग्राम पी लीजिये।
      ** गोभी का रस पीने से खून साफ़ होता है .
      ** हड्डियों का दर्द दूर करने के लिए गोभी का रस और गाजर का रस बराबर मात्र में मिलाकर पीजिये।यह रस पीलीया में भी लाभ पहुंचाता है।
      ** खून की उल्टियां हो रही हो तो गोभी की सब्जी खाएं या कच्ची गोभी को सलाद के रूप में खा लीजिये।
     ** गोभी का काढा पेशाब की जलन भी दूर करता है।    
     ** गले की सूजन में गोभी के पत्तो का रस निकालिए। २ चम्मच रस और २ चम्मच पानी मिलकर १-१ घंटे पर पी लिजिये।
  •                   

  • बंद गोभी या पत्तागोभी अनेक पौष्टिक खनिज लवण और विटामिन का स्रोत है। इसमें प्रोटीन, वसा, नमी, फाईबर तथा कर्बोहाइड्रेट भी अच्छी मात्रा में होता है। पत्तागोभी में कैल्सियम, फास्फोरस, आयरन, कैरोटीन, थायमिन, राइबोफ्लेविन, नियासिन तथा विटामिन सी भी प्रचुर मात्रा में होता है। इसमें क्लोरीन तथा सल्फर भी पाया जाता है और अपेक्षाकृत आयोडीन का प्रतिशत भी अधिक होता है। सल्फर, क्लोरीन तथा आयोडीन साथ में मिल कर आँतों और आमाशय की म्यूकस परत को साफ कर देते हैं।
  • ** अगर आपकी प्लेटलेट्स घट गयी हैं तो पूरी पत्ता गोभी उबाल कर पी लीजिये ,सुबह शाम १-१ ,दस पत्तागोभी का रस आपकी प्लेटलेट्स को बिलकुल सही मुकाम पर पहुंचा देगा।  


इन आलेखों में पूर्व विद्वानों द्वारा बताये गये ज्ञान को समेट कर आपके समक्ष सरल भाषा में प्रस्तुत करने का छोटा सा प्रयत्न मात्र है .औषध प्रयोग से पूर्व किसी मान्यताप्राप्त हकीम या वैद्य से सलाह लेना आपके हित में उचित होगा

kalaunji




मेरे प्रबुद्ध पाठक गण पहचान ही लेंगे इसे कलौंजी कहते हैं।
इस के अलावा इसे विभिन्न भाषाओं में स्थुलजीरक ,मंगरैल ,जीर्णा ,काली बहुगंधा, जीरे, कालीजीर, स्याह्दाना ,हब्ब्तुस्सोदा आदि नामों से पुकारा जाता है।इसे उपकुन्चिका या कला जाजी भी कहते है.इसको अंग्रेजी में ब्लैक क्यूमिन या निगेला सीड तथा वैज्ञानिक भाषा में Nigella sativa कहते हैं।
बड़ी ताकतवर चीज है ये। आयुर्वेद कहता है कि  इसके बीजों की ताकत सात साल तक नष्ट नहीं होती.
इसके बीजो में मैलेन्थीन ,मैलेन्थेजैनिन ,एल्ब्युमीन,शर्करा,गोद, ग्लूकोसाइड , टैनिन ,राल,स्थिर तेल और उड़नशील तेल पाया जाता है।

                 

----- कलौंजी का तेल बड़ी करामाती चीज है।हाथ-पैरों की सूजन भगाता है, दर्द दूर करता है,चर्म रोग दूर करता है और नामर्दी भी दूर करता है। कलौंजी के अन्य उपयोग निम्नलिखित हैं ----
---- मस्सों के लिए --कलौंजी के कुछ दाने सिरके में पीस कर मस्सों पर लगा कर सो जाए कुछ दिनों में मस्से
कट जायेंगे।
----- सर्दी में अगर सिर दर्द हो जाए तो कलौंजी और जीरा बराबर मात्रा  में पीस कर सर में लेप कीजिए .
----- महिलाओं को अपने यूट्रस (बच्चेदानी) को सेहतमंद बनाने के लिए हर डिलीवरी के बाद कलौंजी का काढा ४ दिनों तक जरूर पी लेना चाहिए। काढ़ा बनाने के लिए दस ग्राम कलौंजी के दाने एक गिलास पानी में भिगायें, फिर २४  घंटे बाद उसे धीमी आंच पर उबाल कर आधा कर लीजिये। फिर उसको ठंडा करके पी जाइये, साथ ही नाश्ते में पचीस ग्राम मक्खन जरूर खा लीजियेगा। जितने दिन ये काढ़ा पीना है उतने दिन मक्खन जरूर खाना है।
----- आपको अगर बार बार बुखार आ रहा है अर्थात दवा खाने से उतर जा रहा है फिर चढ़ जा रहा है तो कलौंजी को पीस कर चूर्ण बना लीजिये फिर उसमे गुड मिला कर सामान्य लड्डू के आकार के लड्डू बना लीजिये। रोज एक लड्डू खाना है ५ दिनों तक , बुखार तो पहले दिन के बाद दुबारा चढ़ने का नाम नहीं लेगा पर आप ५ दिन तक लड्डू खाते रहिएगा, यही काम मलेरिया बुखार में भी कर सकते हैं।
----- पागल कुत्ते ने काट लिया है तो ६ ग्राम कलौंजी पानी में पीस कर पिला दीजिये, सुई लगवाने की जरूरत नहीं है।
----- यह तो हम सुनते ही आये हैं की जुकाम हुआ हो तो कलौंजी को महीन कपडे में बाँध कर सूंघते रहने से बहुत आराम मिलता है और जुकाम जड़ से ख़त्म हो जाता है.
----- कलौंजी गंजे सर पे बाल भी उगा देती है मगर यह दवा बड़े तरीके से बनानी होती है ,कोई वैद्य ही इसको बना सकता है।
----- ये पथरी को भी गला देती है अगर पथरी छोटी हो तो। इसके लिए कलौंजी को पानी में पीस कर शहद मिला कर पीना होता है।
----- बहुत हिचकी आ रही हो तो आधा चम्मच कलौंजी का पाउडर आधा चम्मच मक्खन में मिलकर चाट लीजिये।
----- अगर बच्चा पेट में ही मर गया हो तो उसको निकलने के लिए जच्चा को कलौंजी का काढ़ा तुरंत बना कर तुरंत पिलाइये ,बच्चा बिना नुक्सान पहुंचाए बाहर निकल आएगा।
----- बवासीर परेशान कर रही हो तो कलौंजी की राख मस्सो पर मल लीजिये.
----- ऊनी कपड़ों को रखते समय उसमें कुछ दाने कलौंजी के डाल दीजिये,कीड़े नहीं लगेंगे।
----- आपके बाल बहुत गिर रहे है तो कलौंजी पीस कर पतला लेप बनाकर पूरे सर में लगा लीजिये,बाल गिरने बंद और लम्बे होने शुरु.
----- भैषज्य रत्नावली कहती है कि  अगर कलौंजी को जैतून के तेल के साथ सुबह सवेरे खाएं तो रंग एकदम लाल सुर्ख हो जाता है।
----- मुंहासे दूर करने है तो इसे सिरके के साथ पीस कर रात में चेहरे पर लगा कर सो जाएँ कुछ ही दिनों में चेहरा साफ़.


यह मेरा चार महीने का बेटा अखिल मिश्रा है ,जब ये साहबजादे सोते हैं तभी मैं मरीजों की दवा बना पाती हूँ या ब्लॉग लिख पाती हूँ ,अब इन्ही का राज है और मेरे इकलौते बेटे को आप सभी के प्यार और आशीर्वाद की जरुरत है।

सारे चित्र गूगल इमेज से साभार(बेटे की फोटो के अलावा )
इन आलेखों में पूर्व विद्वानों द्वारा बताये गये ज्ञान को समेट कर आपके समक्ष सरल भाषा में प्रस्तुत करने का छोटा सा प्रयत्न मात्र है .औषध प्रयोग से पूर्व किसी मान्यताप्राप्त हकीम या वैद्य से सलाह लेना आपके हित में उचित होगा




हालाँकि समय से पहले बाल सफ़ेद होने के कई कारण हो सकते हैं और हर कारण के लिए अलग अलग दवाएं हैं फिर भी अश्वगंधा ,चित्रक और पिप्पली के चूर्ण का सेवन करने से इस समस्या का हल निकल सकता है. बाक़ी आपकी आदतें मालिक हैं.





इन आलेखों में पूर्व विद्वानों द्वारा बताये गये ज्ञान को समेट कर आपके समक्ष सरल भाषा में प्रस्तुत करने का छोटा सा प्रयत्न मात्र है .औषध प्रयोग से पूर्व किसी मान्यताप्राप्त हकीम या वैद्य से सलाह लेना आपके हित में उचित होगा

आज तक  तो पाइल्स (बवासीर ), भगन्दर (फैस्चुला ), फ़ीशर और महिलाओं में योनिद्वार बाहर निकलने की बीमारी का इलाज आपरेशन के अलावा दवा खाना और लगाना होता था ,लेकिन अब सिर्फ एक गद्दी पर बैठने मात्र से इन रोगों का इलाज हो जायेगा. न दवा खानी ,न लगानी ,न कोई आपरेशन की तकलीफ . मैं इस गद्दी को पेटेंट भी करवा रही हूँ .इस गद्दी का निर्माण  ८ प्रकार की जड़ी बूटियों से हुआ है.